सब लड़के अपनी बारी की प्रतीक्षा कर रहे थे. मंच पर जो ऐक्ट चल रहा था उसके बाद उनके डांस ग्रुप की बारी थी. एक्ट समाप्त होते ही सबने एक दूसरे का हौंसला बढ़ाया और मंच पर चले गए.
सभी लड़के गरीब परिवारों से थे. जीवन से उन्हें उपेक्षा के अतरिक्त कुछ नही मिला था. अतः वह भी जीवन की उपेक्षा करते थे. अपनी झोपड़ पट्टी के पास रेल के गुजरने के लिए पुल पर खड़े होकर गाड़ी का इंतज़ार करते थे. गाड़ी जब कुछ ही सेकेंड के फासले पर होती तो पुल से नीचे बहती नहर में कूद जाते. सभी उनसे परेशान थे.
जैक़ब भी कभी इनके जैसा था. इनकी स्थिति को समझ कर वह इनकी मदद को सामने आया. इनके भीतर छिपी प्रतिभा को पहचान कर इन्हें एक उद्देश्य दिया.
आज वह अपने जीवन के लक्ष्य के करीब थे.
सभी लड़के गरीब परिवारों से थे. जीवन से उन्हें उपेक्षा के अतरिक्त कुछ नही मिला था. अतः वह भी जीवन की उपेक्षा करते थे. अपनी झोपड़ पट्टी के पास रेल के गुजरने के लिए पुल पर खड़े होकर गाड़ी का इंतज़ार करते थे. गाड़ी जब कुछ ही सेकेंड के फासले पर होती तो पुल से नीचे बहती नहर में कूद जाते. सभी उनसे परेशान थे.
जैक़ब भी कभी इनके जैसा था. इनकी स्थिति को समझ कर वह इनकी मदद को सामने आया. इनके भीतर छिपी प्रतिभा को पहचान कर इन्हें एक उद्देश्य दिया.
आज वह अपने जीवन के लक्ष्य के करीब थे.
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